अयोध्या न्यूज डेस्क: इस साल अयोध्या के राम मंदिर में दशहरा पर्व बेहद खास होने वाला है। पहली बार विजयदशमी पर संत-महंतों की मौजूदगी में भगवान रामलला और प्रथम तल पर विराजित राजा राम का औषधीय द्रव्यों से अभिषेक कर राज्याभिषेक समारोह आयोजित किया जाएगा। इस अवसर पर विशेष श्रृंगार और 56 भोग अर्पित होंगे और फिर मध्याह्न 12 बजे राजभोग आरती उतारी जाएगी।
परंपरा के अनुसार दशहरे पर शस्त्र पूजा भी की जाएगी। इस बार केवल भगवान राम ही नहीं, बल्कि परकोटे के छहों मंदिरों में प्रतिष्ठित देवी-देवताओं के अस्त्र-शस्त्रों का भी पूजन किया जाएगा। मंदिर निर्माण प्रभारी गोपाल राव ने बताया कि विजयादशमी सत्य की असत्य पर जीत का प्रतीक है और प्रभु राम ने अपने जीवन से समाज को इस मार्ग पर चलने की प्रेरणा दी। नवरात्र के दौरान शक्ति साधना का महत्व भी इसी से जुड़ा हुआ है।
शारदीय नवरात्र में राम मंदिर और दुर्गा मंदिर में विशेष अनुष्ठान चल रहे हैं। राम मंदिर में श्रीरामचरित मानस का नवाह्न पारायण और दुर्गा मंदिर में दुर्गा सप्तशती का पाठ प्रतिदिन किया जा रहा है। विजयदशमी के दिन इन अनुष्ठानों की पूर्णाहुति और कलश विसर्जन होगा।
इसी बीच राम मंदिर परिसर की सुरक्षा को और मजबूत बनाने के लिए बाउंड्री वाल के दक्षिण-पूर्वी हिस्से का शिलान्यास भी किया गया। महाष्टमी के अवसर पर हुए इस भूमि पूजन में श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र महासचिव चंपतराय और अन्य न्यासी मौजूद रहे। 42 करोड़ की लागत से बन रही यह दीवार सेंसर और अत्याधुनिक सुरक्षा उपकरणों से लैस होगी। इसके साथ ही लगभग दो दर्जन वॉच टावर भी बनाए जाएंगे ताकि पूरे 70 एकड़ परिसर की सुरक्षा पुख्ता रहे।